mobile ka avishkar kisne kiya: वर्तमान समय में कोई भी इंसान मोबाइल फोन के बिना जिन्दगी जीने की कल्पना भी नहीं कर सकता हैं. मोबाइल फोन के बिना हमें ऐसा लगता है की हमारी जिन्दगी ही अधूरी हैं. मोबाइल फ़ोन की वजह से ही आज हम अपने दोस्तों, रिश्तेदारों ऑफिस से संबंधित कोई कार्य या पूरी दुनिया में चल रही किसी भी खबर को सेकंडो में जान पाते हैं. मानो ऐसा लगता है की मोबाइल फोन पूरी दुनिया को ही हमारे हाथों में लाकर रख दिया हैं.
लेकिन कल्पना कीजिए जब मोबाइल फ़ोन का आविष्कार नहीं हुआ था. तो लोगों की जिन्दगी कैसी रही होगी. खैर जैसी भी रही हो, आप तो यह जानने को जरूर उत्सुक होगे की आखिर mobile ka avishkar kisne kiya? मोबाइल का आविष्कार कब हुआ? मोबाइल फोन को बनाने वाला व्यक्ति कौन था? तो आपको बता दे की इस लेख में आप mobile ka avishkar करने वाले का नाम एवं मोबाइल फोन से जुड़े कुछ रोचक तथ्यों के बारे में जानने वाले हैं.
Mobile ka avishkar kisne kiya?
विज्ञान ने 21वीं सदी में मोबाइल फ़ोन के रुप में हमें एक ऐसा अनोखा डिवाइस दिया हैं. जिसकी मदद से हम दूर बैठे अपने दोस्तों एवं रिश्तेदारों के काफी नजदीक आ गए हैं. बिना कही जाए हम उनसे बात-चीत कर सकते है. लेकिन क्या आप जानना चाहेंगे की मोबाइल फोन का आविष्कार कब, कहां और किसने किया था? मोबाइल फ़ोन के आविष्कारक कौन थे? यदि आप इस प्रश्न से अभी अंक अनजान हैं. तो चलिए जान लेते हैं.
दुनिया का पहला मोबाइल फोन कब और किसने बनाया?
दुनिया का सबसे पहला मोबाइल फोन बनाने वाले व्यक्ति का नाम Martin Cooper (मार्टिन कूपर) था. Martin Cooper को मोबाइल फोन का पितामह कहा जाता हैं. वह एक अमेरिकी इंजीनियर थे. मार्टिन कूपर ने विश्व का सबसे पहला फोन 3 अप्रैल, 1973 को दुनिया के सामने पेश किया था. इस फ़ोन को उन्होंने पहली बार आम लोगों के लिए बनाया गया था. दरअसल इस फ़ोन को बनाने के पहले ही Radio Phone और Wireless Phone आ चुके थे. लेकिन इनका इस्तेमाल फौज में रहने वाले लोग ही किया करते थे.
Martin Cooper ने जिस फ़ोन का निर्माण किया था. उसका नाम Motorola Dyna TAC 8000X था. यह फ़ोन 13 सेमी मोटा और 4.45 सेमी चौड़ा था. इसका वजन 1.1 किलोग्राम का था. एक बार चार्ज होने के बाद इस फ़ोन से तक़रीबन 20 मिनट तक Calling की जा सकती थी. लेकिन इस फ़ोन को चार्ज होने में तकरीबन 10 घण्टे का समय लगता था. Martin Cooper ने इस फ़ोन से पहला Call मैनहट्टन में स्थित अपने दफ्तर से न्यू-जर्सी में स्थित बेल लैब्स के मुख्यालय में किया था.
Martin Cooper ने दुनिया का पहला मोबाइल फोन आज के जानी मानी कंपनी मोटोरोला (Motorola) के साथ मिलकर बनाया था. बाद में वह इस कंपनी के CEO (मुख्य कार्यकारी अधिकारी) भी बने. उस समय इस फोन की कीमत आम लोगों के लिए 2700 अमेरिकी डॉलर यानी की भारतीय रुपये में करीब 2 लाख रुपये रखी गई थी. इस फ़ोन को बनाने के कारण Martin Cooper को साल 2013 में मार्कोनी पुरस्कार (Marconi Award) से सम्मानित किया गया था.
मार्टिन कूपर (Martin Cooper) का इतिहास
Martin Cooper का जन्म America के Chicago शहर में 26 Dec 1928 को हुआ था. वह पेशे से एक इंजीनियर थे. इनकी पत्नी का नाम अर्लिन हैरिस था. Martin Cooper ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा अमेरिका में ही रहकर पूरा किया. उन्होंने 1950 में इलेक्ट्रिकल इंजीनियर की डिग्री हासिल किया और इसी डिग्री की वजह से उन्हें सबमरीन अफसर की नौकरी मिली.
लेकिन कुछ साल काम करने के बाद वह इस नौकरी को छोड़कर फिर से पढाई में लग गए और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग में मास्टर ऑफ साइंस की डिग्री हासिल किया. डिग्री प्राप्त करने के बाद वह फिर से टेलीटीपी कंपनी में नौकरी करने लगे. फिर कुछ समय बाद उन्होंने इस कंपनी को छोड़कर Motorola कंपनी जॉइन किया और इसी कंपनी में ही रहकर उन्होंने दुनिया का पहला मोबाइल फ़ोन का आविष्कार किया.
भारत में पहला मोबाइल फ़ोन कब आया था? Mobile Phone History in India
भारत में Mobile Phone की शुरुआत 31 July 1995 को हुई थी. भारत में यह सेवा मोदी टेल्स्ट्रा नामक कंपनी ने शुरुआत की थी. इस कंपनी ने अपने सेवा का नाम Mobile Net रखा था. कुछ समय बाद यह कंपनी स्पाइस टेलीकॉम के नाम से अपनी सेवाएं प्रदान करने लगी. Mobile Net की सेवाओं के लिए Nokia के हैंडसेट का इस्तेमाल किया गया.
31 July 1995 को पहली मोबाइल Call Kolkata से Delhi के लिए की गई थी. इस कॉल को Nokia हैंडसेट 2110 से किया गया था. इस कॉल को करने वाले व्यक्ति पश्चिम बंगाल के पूर्व मुख्यमंत्री ज्योति बसु थे. उन्होंने इस कॉल को उस समय के केंद्रीय संचार मंत्री रहे सुखराम जी को किया था.
आपको जान कर ख़ुशी होगी की वर्तमान समय में भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा Mobile निर्माता देश बन गया हैं. साथ ही Mobile Phone इस्तेमाल करने के मामले में भी भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश बन गया हैं. आज भारत में रहने वाले लगभग सभी लोग मोबाइल फ़ोन का इस्तेमाल कर रहे हैं.
पहले इनकमिंग और आउटगोइंग दोनों कॉल्स के लिए मोटा पैसा लगता था.
आपको जानकार आश्चर्य होगा की पहले एक Sim Card को खरीदने के लिए लोगों को 4,900 रुपये खर्च करने पड़ते थे. इस प्रकार के Sim Card से Incoming और Outgoing Call के लिए 17 रुपये प्रति मिनट की दर से पैसे चार्ज किए जाते थे.
यकीन मानिए यदि आपने सन 1995 में Mobile Phone खरीदा होता. तो आपको भी इतने ही पैसे खर्च करने पड़ते. लेकिन हम सब बहुत खुशनसीब हैं. क्यों की तब से लेकर अब तक Telecom Industry में बहुत कुछ बदल गया हैं. आज हमारा भारत दुनिया के सबसे सस्ते दामों में Internet सेवा प्रदान करने वाले देशों में गिना जाता हैं.
आपको बता दे की Mobile Phone Service के लिहाज से सन 2003 काफी अहम साबित हुआ था. क्यों की इस साल इनकमिंग कॉल फ्री कर दी गई थी. जिस कारण Mobile Phone ग्राहकों की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ. इसके साथ ही इसी साल लैंडलाइन पर भी दरों में कटवती करके उसे घटाकर 1.20 रुपये प्रति मिनट कर दिया गया था.
मोबाइल फोन से जुड़े कुछ रोचक तथ्य
1. आज हम भले ही काफी हल्के और स्लिम फोन का इस्तेमाल कर रहे हैं. लेकिन आपको यह जान कर हैरानी होगी की जिस मोबाइल फ़ोन से पहली Call की गई थी. उसका वजन 1.1 किलोग्राम था. यह मोबाइल 13 सेमी मोटा और 4.45 सेमी चौड़ा था. जानिए दुनिया का सबसे पतला और हल्का 5G फोन के बारे में.
2. वर्तमान समय का मोबाइल फ़ोन मात्र 20 से 25 मिनट में फूल चार्ज हो जाता है और 1 से 2 दिनों तक चलता भी हैं. लेकिन दुनिया के पहले मोबाइल फ़ोन को फूल चार्ज होने में 10 घंटे लग जाता था और मात्र 20 मिनट तक का ही बैकअप मिल पाता था. फोन के बैट्री का वजन भी आज के बैट्री की तुलना में काफी ज्यादा हुआ करता था.
3. Motorola ने सबसे पहले जिस मोबाइल फ़ोन को बाजार में उतारा था. उसकी कीमत भारतीय बाजार में लगभग दो लाख रुपए थी और उस फ़ोन का नाम Dyna TAC 8000x था.
4. First-Generation (1G) Technology की शुरुआत 1979 में जापान में हुई थी. जिसकी मदद से एक साथ कई लोग आपस में Call कर सकते थे. फिर आई 2G Technology जिसकी शुरुआत 1991 में Finland में हुई थी.
5. 2G Technology आने के पूरे 10 साल बाद 2001 में 3G Technology आई. जिसे जापान की कंपनी NTT DoCoMo ने शुरू किया था.
6. साल 2010 में आई दुनिया की सबसे तेज इंटरनेट यानी 4G Technology की शुरुआत हुई. और फिर 2020 में 5G Technology ने पूरी दुनिया में दस्तक दी. 5G बहुत ही एडवांस मोबाइल नेटवर्क हैं. इतना समझ लीजिए 5G नेटवर्क 4G नेटवर्क की तुलना में 100 गुना ज्यादा फास्ट हैं.
उम्मीद करते है अब आपने जान लिया है की mobile ka avishkar kisne kiya tha? यदि आपको यह जानकारी mobile ka avishkar kisne kiya aur kab kiya? अच्छी लगी हैं. तो आप इस लेख “mobile ka avishkar kisne kiya” को सोशल मीडिया साइट्स पर शेयर अवश्य करें. धन्यवाद.
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